पता नहीं क्यों जैसे जैसे राजनीती में रूचि बढ़ते गई वैसे वैसे कांग्रेस पार्टी से विरक्ति होती गई, लेकिन यूँ ही नहीं, ठोस कारणों के कारण। ये चाटुकारी पार्टी है, इस दल में महान से महानतम चाटुकार मिलेंगे गाँधी परिवार की चाटुकारिता करते और ये स्थिति आज की नहीं प्रारम्भ से ही है। मोतीलाल के समय से होते हुए आज राहुल गांधी, मतलब अभी तक। जो जितना बड़ा गाँधी परिवार का चाटुकार, उसका दल में उतना बड़ा पद।
सन् १९७३ की तस्वीर जो ऊपर है को उदाहरण के रूप में ना लें। इस तस्वीर में बालक राहुल गांधी है और नमन करता हुआ पश्चिम बंगाल का मुख्यमंत्री (चाटुकारिता के माध्यम से) सिद्धार्थ शंकर रे।
नीचे की तस्वीर को भी उदाहरण के रूप में ना लें, इनकी चाटुकारिता ने तो इन्हें राष्ट्रपिता बना दिया।
सन् १९७३ की तस्वीर जो ऊपर है को उदाहरण के रूप में ना लें। इस तस्वीर में बालक राहुल गांधी है और नमन करता हुआ पश्चिम बंगाल का मुख्यमंत्री (चाटुकारिता के माध्यम से) सिद्धार्थ शंकर रे।
नीचे की तस्वीर को भी उदाहरण के रूप में ना लें, इनकी चाटुकारिता ने तो इन्हें राष्ट्रपिता बना दिया।


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